एम.एस. डॉस (M.S. DOS) - Computer World

Tuesday, 4 February 2020

एम.एस. डॉस (M.S. DOS)

(M.S. DOS) एम.एस. डॉस 

प्रत्येक कम्प्यूटर अपने ऑपरेटिंग सिस्टम के नियन्त्रण में ही काम करता है जो ऑपरेटिंग सिस्टम अपने काम में बार बार डिस्क की मदद लेता है, उसे डिस्क ऑपरेटिंग सिस्टम या डॉस (Disk Operating System of DOS) कहा जाता है आई. बी.एम. (I.B.M.) के पर्सनल कम्प्यूटरों के लिए माइक्रोसॉफ्ट कॉरपोरेशन अमेरिका ने जो ऑपरेटिंग सिस्टम बनाया, उसे पर्सनल कम्प्यूटर डिस्क ऑपरेटिंग सिस्टम या पी.सी.डॉस (Personal Computer Disk Operating System of P.C. DOS) कहा गया | तथा आई. बी.एम.-पी.सी. काम्पैटीबिल (I.B.M. P.C. Compatible) कम्प्यूटरों के लिए जो ऑपरेटिंग सिस्टम बनाया उसे माइक्रोसॉफ्ट- डिस्क ऑपरेटिंग सिस्टम या एम.एस.-डॉस  (Microsoft-Disk Operating System of MS-DOS) कहा गया है |


एम.एस. डॉस कुछ कार्यों को स्वयं करता है तथा कुछ कार्यों को हम इससे करा सकते हैं। एम. एस. डॉस द्वारा अपने आप किए जाने वाले काम निम्नलिखित हैं-

1. की-बोर्ड से डाटा या आदेश प्राप्त करना।
2. मॉनीटर पर परिणाम या सूचनाएं दिखाना |

3. कम्प्यूटर के हार्डवेयर (सी. पी. यू., डिस्क आदि) के संचालन पर नियंत्रण रखना |
4. किस प्रोग्राम को कितनी मैमोरी चाहिए-यह निर्धारित करके उसे देना
5. पेरीफेरल प्रक्रमों (Peripheral Devices) जैसे प्रिंटर के संचालन पर नियन्त्रण रखना। 

एम. एस. डॉस द्वारा कराए जाने वाले काम निम्नलिखित हैं-

1. नई फाइलों का निर्माण, पुरानी फाइलों की समाप्ति, फाइलों को नए नाम देना।
2. डिस्क में संचित (Stored) फाइलों की लिस्ट (List) प्राप्त करना।
3. डिस्क की संचय क्षमता को दोगुना करना
4. नई फ्लॉपी डिस्क को फार्मेट (Format) करना
5. हार्ड डिस्क से फ्लॉपी डिस्क पर फाइलों का बैकअप लेना
6. हार्ड डिस्क पर फाइलों को पुनः संगठित (Reorganize) करना
7. हार्ड डिस्क पर जगह बनाना।
8. वायरस (Virus) की खोज और उनको नष्ट करना।

अब तक 1 से 6 तक के डॉस वर्जन (Dos Version ) बाजार में चुके हैं।  इनमें 6.22 वर्जन सबसे बाद का है। हर नए संस्करण में पिछले संस्करणों के भी आदेश तो रहते ही हैं, कुछ नए आदेश (यानी प्रोग्राम) भी जोड़े जाते हैं, किन्तु एम.एस. डॉस के मूल ढाँचे में कोई परिवर्तन नहीं होता है।

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